बुधवार, 28 अगस्त 2013

प्रतियोगिता ...

इन दिनों 
हमारे देश का 
सारा चिंतन 
प्याज से 
होता हुआ 
रुपये और चरित्र 
पर आकर 
अटक गया है 
क्यों न हो 
रुपये और चरित्र में 
इन दिनों 
भारी प्रतियोगिता 
जो चल रही है 
कि, कौन कितना 
अधिक गिरता 
है !


गुरुवार, 22 अगस्त 2013

सूफियाना इश्क ….

प्रेम,
व्यक्ति को बदल कर 
भिखारी से सम्राट जैसा 
बना देता है लेकिन 
कई बार अपेक्षायें 
ऐसा होने नहीं देती 
समय के साथ-साथ 
हर चीज बदल जाती है 
प्रेम भी,
जब ह्रदय प्रेम से 
लबालब भर जाता है 
तब प्रेम को ग्रहण 
करने वाला पात्र भी 
छोटा पडने लगता है 
शायद इसी कारण से 
इश्क भी सूफियाना 
हो जाता है !
क्या प्रेम एक 
रासायनिक प्रक्रिया 
का नाम है  … ??

सोमवार, 5 अगस्त 2013

देव तुमने … (बालकविता)


दस साल पहले बच्चों की एक पत्रिका के लिए लिखती थी,
उस पत्रिका में छपी थी यह बाल कविता !

देव तुमने,
कैसे बनाये खुबसूरत 
चांद-सूरज 
जगमग करते 
तारे सुंदर 
इतने दूर गगन में 
कैसे बुनी 
नीली-नीली 
चादर  …. !
देव तुमने,
कैसे बनाये 
खुबसूरत पेड़-पौधे 
पशु-पक्षी,नदियाँ 
पर्वत, सागर 
खुशबूदार इन फूलों में 
कैसे तुमने 
भरे है रंग  … !
देव तुमने,
कैसे बनाई 
धरती और 
धरती के 
कागज पर 
विविध मानव के 
कैसे बनाये 
चित्र  … !