रविवार, 23 अक्टूबर 2011

तमसो मा ज्योतिर्गमय!


मिट्टी के दिये,
जैसे-तैसे 
बाहर का अंधकार 
तो मिटा देते है 
किन्तु,
बाहर की इस 
रोशनी से मेरे 
भीतर का अंधकार 
कहाँ मिट पाता है 
इसलिए मुझे 
हे प्रभु,.......
अंधकार से 
प्रकाश की ओर 
ले चलो !

22 टिप्‍पणियां:

चंद्रमौलेश्वर प्रसाद ने कहा…

‘तो’ शायद दो बार आ गया है। सुंदर भाव के लिए बधाई सुमन जी॥

रविकर ने कहा…

सुन्दर प्रस्तुति |

शुभ-दीपावली ||

संगीता स्वरुप ( गीत ) ने कहा…

सुन्दर प्रस्तुति

दीपावली की शुभकामनायें

Kailash Sharma ने कहा…

बहुत सुन्दर प्रस्तुति...दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं !

कुमार राधारमण ने कहा…

यह पोस्ट दो बार पेस्ट हो गई थी जिसमें से ऊपर वाले पर मेरी टिप्पणी थी। वह पोस्ट और टिप्पणी दोनों डिलीट दिख रही है। मेरी टिप्पणी को स्वयं पेस्ट करने का कष्ट कर दीपावली की शुभकामनाएं लें।

कुमार राधारमण ने कहा…
इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.
Suman ने कहा…

रमण जी,
पोस्ट सहेजते वक्त कुछ टिप्पणिया डिलीट हो गई है !
माफ़ी चाहती हूँ ! आपकी टिप्पणिया हमेशा मुझे
प्रोत्साहन देती है कुछ अच्छा लिखने के लिये !

आभार सभी मित्रों का !

रश्मि प्रभा... ने कहा…

हे प्रभु,.......
अंधकार से
प्रकाश की ओर
ले चलो !...दीपावली की शुभकामनायें

Unknown ने कहा…

बहुत बढ़िया लिखा है.दीपावली की शुभकामना..

संजय भास्‍कर ने कहा…

सुन्दर संदेश...
आपको और आपके प्रियजनों को दीपावली की हार्दिक शुभकामनायें….!

संजय भास्कर
आदत....मुस्कुराने की
http://sanjaybhaskar.blogspot.com

Neelkamal Vaishnaw ने कहा…

बहुत अच्छी लगी कविता सुमन जी बधाई

आपको धनतेरस और दीपावली की हार्दिक दिल से शुभकामनाएं
MADHUR VAANI
MITRA-MADHUR
BINDAAS_BAATEN

Kunwar Kusumesh ने कहा…

दीपावली की भी हार्दिक शुभकामनाएँ.

मनोज कुमार ने कहा…

प्रकाशोत्सव को समर्पित यह रचना बहुत अच्छी लगी।

विभूति" ने कहा…

बहुत ही सुन्दर... शुभ दिवाली...

कुमार राधारमण ने कहा…

हमारे भीतर जो अंधकार है,वह भी बाहर की वजह से ही है। फिर,बाहर के प्रकाश से ही भीतर दीप्त क्यों नहीं हो सकता!

सागर ने कहा…

bhaut hi khubsurat....

महेन्द्र श्रीवास्तव ने कहा…

बहुत सुंदर,

दीपावली की ढेर सारी शुभकामनाएं

रचना दीक्षित ने कहा…

अच्छी लगी ये प्रस्तुति

Asha Joglekar ने कहा…

वाह, तमसो मा ज्योतिर्गमय ।
आशा है आपकी दीपावली शुब और मंगलमय रही होगी ।

निर्मल गुप्त ने कहा…

सुन्दर -अति सुन्दर .

बेनामी ने कहा…

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